दिल्ली. राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में धार्मिक स्थल 19 अप्रैल से पांच महीने से अधिक समय तक भक्तों के लिए बंद रहे, क्योंकि कोविड संक्रमण की दूसरी लहर के कारण सभी धार्मिक स्थल पर तालाबंदी लागू कर दी गई थी.

दिल्ली सरकार ने कोविड दिशा-निर्देशों और मानक संचालन प्रक्रियाओं का सख्ती से पालन करते हुए 1 अक्टूबर से शहर में धार्मिक स्थलों को श्रद्धालुओं के लिए फिर से खोलने की अनुमति दी है.

दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने 30 सितंबर को नए COVID-19 दिशानिर्देश जारी किए.

राष्ट्रीय राजधानी में धार्मिक स्थल 19 अप्रैल से पांच महीने से अधिक समय तक भक्तों के लिए बंद रहे, क्योंकि कोविड संक्रमण की दूसरी लहर के कारण तालाबंदी लागू की गई थी.

हालांकि डीडीएमए के आदेश ने धार्मिक स्थलों पर भक्तों के प्रवेश की अनुमति दी थी, लेकिन इसने वहां बड़ी सभाओं पर रोक लगा दी। इसने जिलाधिकारियों और पुलिस उपायुक्तों को आगामी त्योहारों के मद्देनजर कोविड-उपयुक्त व्यवहार का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित करने का भी निर्देश दिया.

प्राधिकरण ने अपने नए COVID-19 दिशानिर्देशों में कहा कि दिल्ली में त्योहारों के दौरान मेलों, मेलों, खाने के स्टालों, झूलों, रैलियों और जुलूसों की अनुमति नहीं दी जाएगी.

दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने आधिकारिक आदेश में कहा, “सार्वजनिक स्थानों पर छठ पूजा की अनुमति नहीं दी जाएगी और लोगों को सलाह दी जाती है कि वे इसे अपने घरों में ही मनाएं.”

डीडीएमए द्वारा अनुमत और निषिद्ध गतिविधियां 15 अक्टूबर की मध्यरात्रि तक जारी रहेंगी.

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